जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले में करनाल के विनय नरवाल शहीद, तीन दिन पहले हुई थी शादी
बाबूशाही ब्यूरो
करनाल, 23 अप्रैल – जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले के पहलगाम में मंगलवार को हुए एक भयानक आतंकी हमले में हरियाणा के करनाल निवासी 26 वर्षीय विनय नरवाल की भी मौत हो गई। विनय भारतीय नौसेना में लेफ्टिनेंट के पद पर तैनात थे। यह हमला पर्यटकों पर हुआ अब तक का सबसे बड़ा आतंकी हमला बताया जा रहा है, जिसमें दो विदेशी नागरिकों सहित कुल 26 लोगों की जान गई, जबकि कई अन्य गंभीर रूप से घायल हुए हैं।
तीन दिन पहले ही हुई थी शादी, हनीमून पर गए थे पहलगाम
विनय नरवाल की शादी महज तीन दिन पहले, 16 अप्रैल को हुई थी। वह अपनी पत्नी हिमांशी के साथ हनीमून मनाने पहलगाम गए थे, जहां यह दुर्भाग्यपूर्ण हमला हुआ। विनय की शादी की रिसेप्शन 19 अप्रैल को होनी थी, लेकिन उससे पहले ही यह खुशियों से भरा घर मातम में बदल गया।
करनाल के भूसली गांव से थे विनय, नौसेना में थे लेफ्टिनेंट
विनय नरवाल मूल रूप से करनाल के भूसली गांव के रहने वाले थे और फिलहाल अपने परिवार के साथ करनाल के सेक्टर-7 में रह रहे थे। तीन साल पहले भारतीय नौसेना में भर्ती हुए विनय की पोस्टिंग केरल के कोच्ची में थी। विनय ने अपनी स्कूली शिक्षा सेंट कबीर स्कूल, करनाल से की थी और इंजीनियरिंग की पढ़ाई सोनीपत से पूरी की थी।
परिवार में मातम का माहौल, एकलौते बेटे को खोया
विनय अपने माता-पिता की इकलौती संतान थे। उनके पिता राजेश नरवाल एक्साइज विभाग में कार्यरत हैं और मां आशा नरवाल गृहिणी हैं। विनय की एक बहन सृष्टि है। पूरे परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। शादी की खुशियां अभी घर में फीकी भी नहीं पड़ी थीं कि आतंकियों की इस कायराना हरकत ने सब कुछ छीन लिया।
मुख्यमंत्री सैनी ने जताया दुख
हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने विनय नरवाल की शहादत पर शोक जताते हुए सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा, "जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में हरियाणा के वीर सपूत विनय नरवाल की शहादत अत्यंत दुखद है। उनके परिजनों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं। यह हमला मानवता पर हमला है और इसका जवाब देना जरूरी है।"
आतंकियों का बड़ा हमला, पूरे देश में गुस्सा
इस आतंकी हमले ने देशभर को झकझोर कर रख दिया है। पहलगाम जैसे शांत और सुंदर पर्यटन स्थल को निशाना बनाकर आतंकियों ने एक बार फिर यह साबित किया है कि वे अमन और भाईचारे के दुश्मन हैं। सुरक्षाबलों ने इलाके को घेर लिया है और सघन सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है।
एक वीर सपूत की शहादत, एक अधूरी दुल्हन की कहानी
विनय नरवाल की मौत ने पूरे देश को झकझोर दिया है, लेकिन सबसे ज्यादा असर उस नवविवाहिता हिमांशी पर पड़ा है, जिसने अभी नई ज़िंदगी की शुरुआत ही की थी। उनकी आंखों में बसे सारे सपने चकनाचूर हो गए। यह कहानी केवल एक जवान की शहादत नहीं, बल्कि एक पूरे परिवार की भावनाओं का टूट जाना है।
सरकार की ओर से अब तक किसी मुआवजे या विशेष सहायता की घोषणा नहीं की गई है, लेकिन उम्मीद है कि शहीद के परिवार को हर संभव सहयोग मिलेगा। विनय नरवाल हमेशा देश के लिए अपने सर्वोच्च बलिदान के रूप में याद किए जाएंग
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