रोहतक: पीजीआईएमएस में एमबीबीएस परीक्षा में नकल का बड़ा खुलासा
बाबूशाही ब्यूरो
रोहतक, 22 फरवरी: पंडित भगवत दयाल शर्मा यूनिवर्सिटी ऑफ हेल्थ साइंसेज (पीजीआईएमएस) में एमबीबीएस परीक्षा के दौरान नकल का बड़ा मामला सामने आया है। जांच कमेटी की सिफारिश पर 41 छात्रों और कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इसके अलावा, 8 नियमित कर्मचारियों को पहले ही निलंबित किया जा चुका है।
**कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने सरकार पर उठाए सवाल**
कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने इस मामले पर सरकार से जवाब मांगा है। उन्होंने पूछा कि बीते 10 वर्षों में भाजपा शासन के दौरान कितने फर्जी डॉक्टर तैयार हुए और इस भ्रष्टाचार में भाजपा के बड़े नेताओं तक कितना पैसा पहुंचा, इसकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए।
**3 से 5 लाख रुपये में होती थी नकल**
पीजीआईएमएस में नकल का यह संगठित खेल लंबे समय से चल रहा था। जांच में खुलासा हुआ कि 3 से 5 लाख रुपये लेकर छात्रों को परीक्षा में पास करवाया जाता था। यह घोटाला कुछ छात्रों की शिकायत के बाद सामने आया। शुरू में पीजीआई प्रशासन ने इसे दबाने की कोशिश की, लेकिन मीडिया में मामला उजागर होने के बाद जांच के आदेश दिए गए।
**कैसे होता था नकल का खेल?**
जांच कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ कर्मचारी छात्रों की उत्तर पुस्तिकाएं परीक्षा हॉल से बाहर ले जाकर सही जवाब लिखवाते थे और फिर रिकॉर्ड रूम में जमा कर देते थे। इससे छात्र बिना मेहनत किए पास हो जाते थे।
**पीजीआई प्रशासन की प्रतिक्रिया**
एमबीबीएस डॉक्टर एच.के. अग्रवाल ने इस पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया, लेकिन उन्होंने पुष्टि की कि मामले की जांच के लिए एक कमेटी गठित की गई थी।
**आगे की कार्रवाई**
पुलिस ने इस मामले में विस्तृत जांच शुरू कर दी है। संबंधित छात्रों और कर्मचारियों से पूछताछ की जा रही है और दोषियों पर सख्त कार्रवाई की संभावना है।
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