चंडीगढ़ का सिटी ब्यूटीफुल का दर्जा खतरे में, नगर निगम का बागवानी विभाग लापरवाही के घेरे में!
शहर के पेड़ों और ग्रीन बेल्ट की सुरक्षा करने में पूरी तरह विफल साबित
रमेश गोयत
चंडीगढ़, 10 जनवरी। सिटी ब्यूटीफुल के नाम से मशहूर चंडीगढ़ की हरियाली पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। नगर निगम का बागवानी विभाग शहर के पेड़ों और ग्रीन बेल्ट की सुरक्षा करने में पूरी तरह विफल साबित हो रहा है। अतिक्रमण और अधिकारियों की लापरवाही के कारण शहर की सुंदरता धीरे-धीरे खत्म हो रही है।
अतिक्रमण से ग्रीन बेल्ट तहस-नहस
शहर के प्रमुख क्षेत्रों जैसे सेक्टर 26 बापू धाम, ट्रांसपोर्ट लाइट, इंडस्ट्रियल एरिया फेस 1 से ट्रिब्यून चौक तक ग्रीन बेल्ट अतिक्रमण और अवैध निर्माण का शिकार हो रही है। सेक्टर 26 के मेंगो पार्क में स्थानीय निवासियों ने दीवार तोड़कर अवैध दरवाजे खोल दिए हैं। पार्क के बीचों-बीच एक अवैध रास्ता बनाया गया है, जिससे हरियाली को भारी नुकसान हो रहा है।
अधिकारियों पर मिलीभगत के आरोप
नगर निगम के बागवानी विभाग पर आरोप लग रहे हैं कि वे अतिक्रमण और अवैध निर्माण को रोकने के बजाय इसमें शामिल हो रहे हैं। शहरवासी सवाल उठा रहे हैं कि क्या हरियाली के रक्षक ही भक्षक बन गए हैं?
जर्जर पेड़ों से जान का खतरा
शहर में जर्जर पेड़ सड़क पर गिरकर दुर्घटनाओं का कारण बन रहे हैं। हाल के महीनों में कई घटनाओं में लोगों की जान जा चुकी है। इसके बावजूद बागवानी विभाग की तरफ से पेड़ों के रखरखाव पर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।
ग्रीन बेल्ट में निगम में प्रशासन के विभागों ने बनाई स्टोर
सेक्टर 26 लाइट प्वाइंट से निकलकर बापूधाम एरिया में ट्रांसपोर्ट एरिया साइड में नगर निगम व प्रशासन ने ग्रीन बेल्ट में ही अपने विभागों के स्टोर बनाए हुए हैं जिसके कारण पूरी ग्रीनरी खत्म हो चुकी है वहीं इससे आगे निकलकर ट्रांसपोर्ट कंपनियों ने ग्रीन बेल्ट में पूरी पार्किंग ही खुली हुई है।
अधिकारियों की योग्यता पर सवाल
आरोप लगाए जा रहे हैं कि बागवानी विभाग में तैनात कई अधिकारी नकली व बिना किसी डिग्री या डिप्लोमा के पद पर बैठे हैं। शहरवासियों का कहना है कि यह लापरवाही और अयोग्यता हरियाली के घटते स्तर के लिए जिम्मेदार है।
चंडीगढ़ की पहचान खतरे में
शहर के बागवानी क्षेत्र में लगातार गिरावट देखी जा रही है। प्रशासन की अनदेखी और विभागीय लापरवाही के चलते चंडीगढ़ की हरियाली को बड़ा खतरा है। स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से तत्काल कार्रवाई करने की मांग की है ताकि सिटी ब्यूटीफुल की पहचान बचाई जा सके।
शहरवासी क्या कह रहे हैं?
एक स्थानीय निवासी पर्यावरण प्रेमी राहुल महाजन, प्रवीण त्रिवेणी, राज चढ़ा ने कहा, "हमने चंडीगढ़ को हमेशा एक हरे-भरे शहर के रूप में देखा है, लेकिन आज यहां की ग्रीन बेल्ट को नष्ट होते देखना बेहद दुखद है। प्रशासन को जल्द से जल्द हरियाली बचाने के लिए कदम उठाने चाहिए।"
प्रशासन का क्या कहना है?
बागवानी विभाग के अधिकारियों ने इन आरोपों पर प्रतिक्रिया नहीं दी है। मामले की गंभीरता को देखते हुए उम्मीद की जा रही है कि उच्च अधिकारी जल्द ही कार्रवाई करेंगे।
चंडीगढ़ की हरियाली को बचाने के लिए समय रहते ठोस कदम उठाना बेहद जरूरी है, वरना सिटी ब्यूटीफुल का दर्जा केवल इतिहास बनकर रह जाएगा।
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