सिटी ब्यूटीफुल” में अफसरों के घर भी सुरक्षित नहीं!
सेक्टर 11 में शिक्षा निदेशक के सरकारी आवास में चोरी
चोरों के निशाने पर अफसरों के बंगले: ऑफिसरों में मचा हड़कंप
रमेश गोयत
चंडीगढ़, 13 अप्रैल 2025: सिटी ब्यूटीफुल माने जाने वाले देश के सबसे सुरक्षित शहरों में गिने जाने वाले चंडीगढ़ में अब उच्च अधिकारियों के घर भी चोरों के निशाने पर हैं। ताजा मामला शहर के सबसे सुरक्षित माने जाने वाले सेक्टर-11 से सामने आया है, जहां चंडीगढ यूटी शिक्षा विभाग के निदेशक एवं आबकारी कराधान विभाग के कलेक्टर हरसुहिंदर पाल सिंह बराड़ पीसीएस के सरकारी आवास में चोरी की घटना ने पुलिस की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। बराड़ ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कंवरदीप कौर, को भेजी शिकायत में बताया कि 10 और 11 अप्रैल की रात कुछ अज्ञात व्यक्ति उनके आवास संख्या 620, सेक्टर-11 बी में पिछली दीवार पर लगी कंटीली तार काटकर दाखिल हुए और वहां से दो गैस सिलेंडर, एक प्रेस और अन्य घरेलू सामान चुरा ले गए।
बराड़ ने यह भी लिखा है कि यह सिर्फ चोरी का मामला नहीं, बल्कि सरकारी संपत्ति में जबरन घुसपैठ का गंभीर विषय है, जो आम नागरिकों और अधिकारियों दोनों की सुरक्षा पर बड़ा सवाल खड़ा करता है।
सीसीटीवी में कैद हुआ संदिग्ध:
रात 01:48 AM पर एक संदिग्ध व्यक्ति की फोटो घर में लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हुई है, जो इस घटना की पुष्टि करता है।
बराड़ ने आगे लिखा कि सेक्टर-10 और 11 को जोड़ने वाली सड़क के पीछे इन सरकारी आवासों के पास शाम के समय अक्सर कुछ लोग शराब पीते और साइकिलें खड़ी कर बैठते देखे जाते हैं, जिससे क्षेत्र में असुरक्षा की भावना बढ़ती जा रही है। बराड़ सेक्टर-11बी स्थित मकान नंबर 620 में रहते हैं। उनकी शिकायत पर पुलिस स्टेशन सेक्टर-11 में एफआईआर नंबर 58, धारा 305(ए) बीएनएस के तहत अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। शिकायत के अनुसार, 10 और 11 अप्रैल की रात किसी अज्ञात चोर ने उनके घर से दो गैस सिलेंडर, एक प्रेस और अन्य महंगा घरेलू सामान चुरा लिया। चोर बड़ी आसानी से घर में दाखिल होकर सामान लेकर फरार हो गया और किसी को भनक तक नहीं लगी।
यह पहला मौका नहीं है जब किसी वरिष्ठ अधिकारी के घर चोरी हुई है। इससे पहले भी कई आईएएस अधिकारियों के आवासों को चोर निशाना बना चुके हैं। इन बढ़ती घटनाओं ने अधिकारियों के बीच चिंता की लहर दौड़ा दी है। सवाल ये उठता है कि अगर वीआईपी सेक्टर और बड़े अफसरों के घर सुरक्षित नहीं हैं, तो आम जनता खुद को कैसे महफूज महसूस करे?
पुलिस मामले की जांच में जुटी है, और इलाके में लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है। लेकिन जिस तरह से चोर प्रशासनिक अधिकारियों के घरों में घुसकर सामान चुरा रहे हैं, इससे चंडीगढ़ की 'सुरक्षा व्यवस्था' पर गहरा प्रश्नचिन्ह लग गया है।
चंडीगढ़ पुलिस के एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, “हम पूरी गंभीरता से जांच कर रहे हैं, और जल्द ही आरोपी को गिरफ्तार किया जाएगा।”
फिलहाल, शहर के अधिकारी अपने ही घरों की सुरक्षा को लेकर सतर्क हो गए हैं। कई लोगों ने निजी सुरक्षा गार्ड लगाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। लेकिन आम लोगों के लिए यह विकल्प संभव नहीं है। ऐसे में प्रशासन पर दबाव है कि वह चोरी और सेंधमारी की बढ़ती घटनाओं पर काबू पाए।
क्या चंडीगढ़ में अब घरों की दीवारें भी चोरों से सुरक्षित नहीं रहीं?
यह सवाल आज हर नागरिक के ज़हन में घूम रहा है। इन घटनाओं ने यह साबित कर दिया है कि अब सिर्फ आम नागरिक ही नहीं, बल्कि सरकारी अधिकारी भी चोरों के निशाने पर हैं। सवाल यह है कि जब वीआईपी इलाकों में रहने वाले अफसर सुरक्षित नहीं, तो आम जनता कितनी सुरक्षित है?
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