13 महीने बाद खुला हरियाणा-पंजाब का खनौरी बॉर्डर, दिल्ली-पटियाला हाईवे पर शुरू हुई आवाजाही
रमेश गोयत
चंडीगढ़, 21 मार्च। किसान आंदोलन के कारण पिछले 13 महीनों से बंद हरियाणा-पंजाब का खनौरी बॉर्डर आखिरकार शुक्रवार को यातायात के लिए खोल दिया गया। इसके साथ ही दिल्ली-पटियाला हाईवे पर वाहनों की आवाजाही सुचारू हो गई। हरियाणा पुलिस ने 20 मार्च को ही यहां की सीमेंट बैरिकेडिंग हटा दी थी, लेकिन पंजाब की तरफ से ट्रालियां और अन्य अवरोध हटाने में थोड़ा समय लगा।
शंभू बॉर्डर भी खुला, दिल्ली-अमृतसर-जम्मू हाईवे चालू
हरियाणा और पंजाब के बीच स्थित शंभू बॉर्डर को भी 20 मार्च को खोल दिया गया था। इससे अंबाला-पटियाला के बीच ट्रैफिक सामान्य हो गया है। पंजाब पुलिस ने 19 मार्च को यह बॉर्डर खाली कराया था, जिसके बाद दिल्ली-अमृतसर-जम्मू हाईवे भी सुचारू रूप से चालू हो गया।
क्यों बंद थे ये बॉर्डर?
किसानों के दिल्ली कूच आंदोलन के तहत 13 फरवरी 2024 को हरियाणा-पंजाब बॉर्डर पर बैरिकेडिंग कर दी गई थी। किसान दिल्ली जाने की तैयारी में थे, लेकिन सरकार और किसान संगठनों के बीच वार्ता असफल रही। इसके बाद, शंभू और खनौरी बॉर्डर पर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था लागू कर दी गई और इन्हें पूरी तरह सील कर दिया गया।
बॉर्डर खुलने से लोगों को राहत
खनौरी और शंभू बॉर्डर के खुलने से अब आम लोगों को बड़ी राहत मिली है। खासतौर पर ट्रांसपोर्ट और व्यापार से जुड़े लोग इन रास्तों के बंद होने से काफी परेशान थे। स्थानीय दुकानदारों और छोटे व्यापारियों के कारोबार पर भी असर पड़ा था। अब बॉर्डर खुलने से उन्हें भी राहत मिलेगी।
क्या कहते हैं अधिकारी?
हरियाणा पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, "20 मार्च को ही बैरिकेडिंग हटा दी गई थी, लेकिन पंजाब की तरफ से रास्ता साफ करने में थोड़ा समय लगा। अब दोनों तरफ से ट्रैफिक सामान्य कर दिया गया है।" वहीं, पंजाब पुलिस ने भी पुष्टि की कि सुरक्षा कारणों से कुछ अवरोध लगाए गए थे, जो अब हटा दिए गए हैं
अब जब बॉर्डर खुल चुके हैं, तो आम नागरिकों और व्यापारियों के लिए सुविधाएं पहले की तरह सामान्य होने की उम्मीद है। हालांकि, किसान संगठनों की गतिविधियों को देखते हुए प्रशासन अब भी सतर्क है, ताकि भविष्य में किसी भी प्रकार की अव्यवस्था न हो।
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